Friday, December 11, 2009

दर्द का पता!



कल रात मेरी जीवन साथी संजीदा हो गईं,
मेरी कविताएं पढते हुये,


उसने पूछा,


क्या सच में! 


आप दर्द को इतनी शिद्द्त से महसूस करते हैं? 
या सिर्फ़ फ़लसफ़े के लिये मुद्दे चुन लेतें हैं!  


दर्द की झलक जो आपकी बातों में है,
वो आई कहां से?


मैने भी खूबसूरती से टालते हुये कहा,


दर्द खजाने हैं,इन्हें छुपा कर रखता हूं,
कभी दिल में,कभी दिल की गहराईओं में


खजानों का पता गर सब को बताता,
तो अब तक कब का लुट गया होता!


मेरे किसी दोस्त ने कभी बहुत ही सही कहा था!


’ये फ़कीरी लाख नियामत है, संभाल वरना,
इसे भी लूट के ले जायेंगें ज़माने वाले!’          

12 comments:

  1. ’ये फ़कीरी लाख नियामत है, संभाल वरना,
    इसे भी लूट के ले जायेंगें ज़माने वाले!’....

    सच कहा ......... दिल का दर्द छुपा कर रखना ही ठीक होता है ............

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  2. "दर्द खजाने हैं,इन्हें छुपा कर रखता हूं,
    कभी दिल में,कभी दिल की गहराईओं में"
    I must say,, superb!!!

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  3. आप ने बहुत खूब और अच्छे से अपने ख़यालात को प्रगट किया है, पढ़ कर बाधा अच्छा लगा.
    वैसे तो कविता Freeform में लिखी ही अच्छी लगती है, पर आप अगर कविता को टेक्नीक में बांध ले तो पढने में और भी मज़ा आएगा
    बहुत बधाई ..

    आशु

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  4. bahut badiya

    tumhari rachnao par ek sayri yaad aa rahi hai
    ``suna hai sahilo me aag bhadaki hai tbahi ki, magar hamne bhi thani hai par jaenge. abhi to hatheliyo tak teg ka pani nahi utra, fir kaise kah diya baji har jaenge....

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  5. खजानों का पता गर सब को बताता,
    तो अब तक कब का लुट गया होता!

    Waah! Behad sundar! Aapka khazana anmol hai!

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  6. :) nishabd ho jate hain hum kabhi kabhi, kya kahen , har lafz kam pad raha hai, kavita ke liye. atyant khoobsoorat andaz - e - bayan hai

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  7. ’ये फ़कीरी लाख नियामत है, संभाल वरना,
    इसे भी लूट के ले जायेंगें ज़माने वाले!’

    घर में था क्या जो तेरा गम उसे गारत करता

    वो जो दिल मे थी एक हस्रत ए तमील सो है

    आप मौलिक लिख्ते हैं और अच्छा लिखते हैं इसलिये मुझे आपका ब्लाग पसंद है.
    इस प्रतिभा के लिये बहुत बधाई

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  8. behsak beshak app ne apni abhivyakti ko awwaz di hai,par sach main kyaa dard ki gaharaai se utthe ye shabd ? thoda sa kaavya .laya aur hoty to main aapke kam se kam 2 ghazlon ko sangeet baddha (compose) karke record karke aapko bhej deta.. fir bhi badhai..mere blog par bhi swagat..www.rangdeergha.blogspot.com

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