"सच में!"
दिल की हर बात अब यहाँ होगी, सच और सच बात बस यहाँ होगी
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ख्वाहिश
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ख्वाहिश
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Saturday, February 12, 2011
डरे हुये तुम!
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तुम मुझे प्यार करना बन्द मत करना, इस लिये नहीं कि, मैं जी नही पाऊँगा, तुम्हारे प्यार के बिना, हकीकत ये है, कि मैं मर नहीं पाऊँगा स...
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Tuesday, May 18, 2010
खामोशी!
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कभी खामोश रह कर सुनो तो सही, क्या कहती है? मेरी ये खामोशी! पर अफ़सोस ये है कि, तुम्हारे तर्क वितर्क के शोर से से घबर...
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Wednesday, May 5, 2010
प्लीज़!
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इस बार ऐसा करना, जब बिना बताये आओ, किसी दिन तो चुपचाप चुरा कर ले जाना, जो कुछ भी, तुम्हें लगे, कीमती, मेरे घर, जेहन, या श...
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Thursday, March 11, 2010
ख्वाहिश!
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तेरे मेरे शाम सवेरे, कभी उजाले कभी अंधेरे. मन मेरा, ज्यूं ढलता सूरज गहरे बादल, गेसू तेरे, मैं एकाकी तू भी तन्हा यादों में आ सा...
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