आज़ादी मिल गई हमको,
चलो सडको पे थूकें!
आज़ादी मिल गई हमको,
चलो ट्रैनों को फ़ूकें!
आज़ादी मिल गई हमको,
चलो लोगों को कुचलें!
आज़ादी मिल गई हमको,
चलो पत्थर उछालें!
आज़ादी मिल गई हमको,
चलो घर को जला लें!
आज़ादी मिल गई हमको,
चलो घोटले कर लें!
आज़ादी मिल गई हमको,
तिज़ोरी नोटों से भर लें!
आज़ादी मिल गई हमको,
चलो पेडों को काटें!
आज़ादी मिल गई हमको,
चलो भूखों को डांटें!
आज़ादी मिल गई हमको,
चलो सूबों को बांटें!
गर भर गया दिल जश्न से तो चलो,
इतना कर लो,
शहीदों की याद में सजदा कर लो!
न कभी वो करना जो,
आज़ादी को शर्मसार करे,
खुद का सर झुके और
शहीदों की कुर्बानी को बेकार करे!
Azadi hai kam kapde pahnne ki, daru khule aam sadak pe peene ki,
ReplyDeleteazadi hai hame ghus khane ki , azadi hai hame logo ko gali dene ki,
Bahut Khub Accha laga
आज़ादी मिल गई हमको,
ReplyDeleteचलो सडको पे थूकें!
आज़ादी मिल गई हमको,
चलो ट्रैनों को फ़ूकें!
सच लिखा है....
एक कटु सत्य्।
ReplyDeletebahut khub..
ReplyDeleteyeh azaadi kis baat ki hai pata nahi....
shayad hum logon ne kuch alag hi arth nikal liya hai...
mere blog par is baar
राष्ट्रीय ध्वज का महत्व...
सत्य कहा है ... देशवासियों के लिए शायद आज़ादी के इतने ही मायने रह गये अहीं आज ....
ReplyDeleteबहुत लाजवाब ...